अनूप पासवान /कोरबाः- पसान वन परिक्षेत्र के विजयडाड़ बीट की वन भूमि धंस गई. इससे जमीन पर लगभग 4 फीट चौड़ी दरारें भी आई हैं, जिस जगह पर भू-धंसान की यह घटना हुई. यह इलाका एसईसीएल चिरमिरी एरिया की भूमिगत कोयला खदान विजय वेस्ट माइंस का प्रभावित क्षेत्र है और पुटीपखना के आश्रित गांव विजयडाड़ के गोलंदिया मोहल्ला से महज 500 मीटर की दूरी पर है. इस मोहल्ले में ज्यादातर पंडो परिवार के लोग रहते हैं. 6 माह में तीसरी बार खदान प्रभावित क्षेत्र में भू-धंसान की घटना से क्षेत्र के लोग दहशत में हैं.
यहां से होता है इस कोल माइंस का संचालन
कोयला खनिज समृद्ध जिला कोरबा में एसईसीएल की भूमिगत व खुली खदानें हैं. कटघोरा वनमंडल के विजयडाड़ में विजय वेस्ट अंडरग्राउंड कोल माइंस संचालित है, जिसका संचालन एसईसीएल के चिरमिरी एरिया से होता है. अगस्त 2023 में इस खदान प्रभावित क्षेत्र की वन भूमि पर दरारें पड़ी, तो इसे एसईसीएल प्रबंधन ने मामूली सबसिडेंस क्रेक माना था. लेकिन इसके तीन महीने बाद प्रभावित क्षेत्र विजयडाड़ में भू-धंसान की घटना सामने आई, तो मिट्टी फिलिंग कराकर गड्ढों को भरा गया.
किसानों ने देखी धंसी हुई भूमि
सुबह मवेशी चराने गए किसानों ने विजयडाड़ के गोलंदिया मोहल्ला से 500 मीटर दूर धंसी वन भूमि को देखा. उसके बाद वन अमले को खबरदी वन अमला मौके पर पहुंचा और भू-धंसान स्थल का जायजा लिया. खदान प्रभावित क्षेत्र की लगभग डेढ़ एकड़ जमीन धंस चुकी थी. मवेशियों को चराने के लिए अब इस ओर ले जाने में भी ग्रामीणों को डर लगने लगा है. भू-धंसान की बार-बार की घटना से गोलंदिया मोहल्ला में रह रहे ग्रामीणों की चिंता बढ़ गई है.
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FIRST PUBLISHED : February 9, 2024, 15:47 IST